जजों को माई लॉर्ड्स (My Lords) कहा जाए या योर लॉर्डशिप (Your Lordship) या कुछ और कहकर संबोधित किया जाए? यह बहस काफी पुरानी है. 6 अक्टूबर को सुप्रीम कोर्ट में जब एक वकील इसी संशय में फंसे तो चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया डीवाई चंद्रचूड़ (CJI DY Chandrachud) ने फौरन उनका कन्फ्यूजन दूर कर दिया.
क्या है पूरा मामला?
6 अक्टूबर (शुक्रवार) को चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ (CJI DY Chandrachud) की बेंच एक मामले की सुनवाई कर रही थी. इस दौरान एक वकील, पारंपरिक तौर पर इस्तेमाल किये जाने वाले ‘योर लॉर्डशिप’ की जगह बेंच को ”सर” कहकर संबोधित करने लगे. चंद सेकेंड बाद ही उन्हें अपनी गलती का एहसास हुआ तो सफाई दी. वकील ने कहा कि वह ‘योर लॉर्डशिप’ ही कहना चाहते थे, लेकिन गलती से उनके मुंह से ‘सर’ निकल गया.
CJI चंद्रचूड़ ने क्या कहा?
वकील की सफाई सुन CJI चंद्रचूड़ मुस्कुराने लगे. उन्होंने कहा, ”कृपया हमें सर कहकर ही बुलाएं. अब ‘योर लॉर्डशिप’ कहकर संबोधित करने की परंपरा खत्म होनी चाहिए. हमें बस इतना ही कहना है कि आपने जो कहा वह बहुत अच्छा कहा… उसमें कोई बुराई नहीं’ इस पर वकील ने आगे कहा कि मैं कॉर्पोरेट बैकग्राउंड से आता हूं. वहां बॉस को सर ही कहते हैं. इसलिए मेरी आदत सर कहने की है.
बॉम्बे हाई कोर्ट पर भड़के CJI
चीफ जस्टिस चंद्रचूड़ ने शुक्रवार को बॉम्बे हाई कोर्ट के जजों पर भी तीखी नाराजगी जाहिर की. CJI को जब पता लगा कि बॉम्बे हाई कोर्ट के इक्का-दुक्का जज ही वर्चुअल और हाइब्रिड मोड में सुनवाई कर रहे हैं तो वह काफी नाराज हो गए. चीफ जस्टिस ने कहा कि सभी जजों को नई टेक्नोलॉजी सीखनी होगी और इससे आनाकानी नहीं कर सकते.
एक मामले की सुनवाई करते हुए चीफ जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा कि बॉम्बे हाई कोर्ट मेरा पैरेंट कोर्ट है. मुझे पता लगा कि वहां हाइब्रिड हियरिंग को हटा दिया गया है. आखिर टेक्नोलॉजी को लेकर इतना सूनापन क्यों है? सवाल यह नहीं है कि एक जज टेक्नोलॉजी फ्रेंडली है या नहीं. आपको जज बनना है तो टेक्नोलॉजी सीखनी होगी. नई टेक्नोलॉजी का ज्ञान आवश्यक है. इससे बच नहीं सकते.
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FIRST PUBLISHED : October 7, 2023, 14:52 IST
